- कर्नाटक चुनाव के अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान

बजरंग दल पर प्रतिबंध मतलब हिन्दु धर्म का अपमान 
बेंगलुरु। ‘संकट ते हनुमान छुड़ावे, मन कर्म वचन ध्यान जो लावे’ (अगर आप अपनी पूरी भक्ति के साथ उनसे प्रार्थना करते हैं, तब भगवान हनुमान आपको संकट से बचाएंगे) ‘हनुमान चालीसा’ की ये एक मशहूर लाइन है, जिसका भक्त हिंदू भगवान हनुमान के लिए जाप करते हैं। यह लाइन कर्नाटक चुनाव के मैदान में भी जोर से बज रही है, क्योंकि बीजेपी को भगवान हनुमान पर भरोसा है। इसके अलावा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राज्य में चुनाव को जीतने में उनकी मदद कर रहे हैं। बेंगलुरु में पीएम नरेंद्र मोदी के मेगा रोड शो में कुछ समर्थकों को भगवान हनुमान के भेष में देखा गया। जिससे यह साफ हो गया कि चुनाव प्रचार के अंतिम हफ्ते का विषय भगवान ‘बजरंग बली’ बन गए हैं। 
इसके बाद कांग्रेस शिकायत कर रही है कि भाजपा ने इस हिंदूवादी संगठन ‘बजरंग दल’ के बजाय बजरंग बली तक ले जाने के लिए पूरी कहानी को तोड़-मरोड़ कर पेश किया है। कांग्रेस ने पिछले मंगलवार को जारी अपने घोषणापत्र में अनावश्यक रूप से बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव रखा था। लेकिन भाजपा का कहना है कि उसके पास भगवान हनुमान का आवाह्न करने का पूरा कारण है। तब से पीएम मोदी हर रैली में ‘जय बजरंग बली’ का नारा लगाते हैं। ये गौरतलब है कि भगवान हनुमान का जन्म कर्नाटक की अंजनाद्री पहाड़ियों में हुआ था। 
कर्नाटक में भगवान हनुमान को भगवान अंजनेय के रूप में जाना जाता है और व्यापक रूप से इनकी पूजा होती है। दरअसल, बीजेपी के वरिष्ठ नेता ने बताया कि कांग्रेस ने 2 मई को जारी घोषणापत्र में ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध’ लगाने का वादा किया था, जो कि भगवान हनुमान को समर्पित हफ्ते का पवित्र दिन मंगलवार था। कहा जाता है कि भगवान हनुमान का जन्म कर्नाटक के कोप्पल जिले में अंजनाद्री पहाड़ियों में हुआ था। पहले भी मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने रामायण में वर्णित इस जगह को ‘किष्किन्धा’ कहा था। रामायण में किष्किन्धा वानर साम्राज्य था, जहां भगवान राम पहली बार हनुमान से मिले थे। हनुमान ने उन्हें लंका तक पहुंचने में मदद की थी, जहां माता सीता को रखा गया था। 
भाजपा के स्टार प्रचारक उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी ने कर्नाटक में अपनी रैलियों के दौरान उत्तर प्रदेश और कर्नाटक के बीच संबंध की व्याख्या करते हुए कहा कि भगवान राम का जन्म अयोध्या में और हनुमान का जन्म कर्नाटक में हुआ था।  योगी ने कहा कि बजरंग दल राष्ट्रीय और समाज सेवा के लिए समर्पित है और भगवान हनुमान को समर्पित है। उन्होंने जोर देकर कहा कि ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव हिंदू धर्म का अपमान करना है और कोई भी राष्ट्रवादी इस बर्दाश्त नहीं करेगा।  बोम्मई सरकार वास्तव में अंजंधारी पहाड़ियों को एक प्रमुख जगह के रूप में विकसित करने पर काम कर रही है। पिछले साल राज्य के बजट में इसके लिए 100 करोड़ रुपये का प्रावधान किया था। डीके शिवकुमार जैसे कांग्रेस के राज्य के बड़े नेताओं को ‘बजरंग दल’ के मुद्दे के कारण नुकसान की आशंका है।  इसलिए उन्होंने सत्ता में आने के बाद राज्य भर में हनुमान मंदिर बनाने का वादा किया है। 
रामायण में भगवान हनुमान ने संजीवनी बूटी लाने के लिए लंका से हिमालय तक उड़ान भरकर अपना पराक्रम दिखाया था। जिसने युद्ध में गंभीर रूप से घायल होने के बाद लक्ष्मण की जान बचाई थी। ऐसा लगता है कि ‘बजरंग बली’ के मुद्दे ने अप्रैल के अंतिम हफ्ते तक कांग्रेस के अभियान के चरम पर पहुंचने के बाद राज्य में भाजपा के अभियान में ठीक समय पर नई जिंदगी और नए सिरे से जोश भर दिया है।

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