FIITJEE की शाखाएं बंद उत्तर भारत के कई स्थानों पर कोचिंग सेंटर FIITJEE की कई शाखाएं बंद होने से बवाल मच गया है। अचानक शाखा बंद होने से सैकड़ों अभिभावकों में रोष है, जिन्होंने फीस वापसी की मांग को लेकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। उनका कहना है कि जब सेंटर ही बंद हो गया है तो कंपनी को बच्चों की फीस वापस करनी चाहिए।
नई दिल्ली। पिछले कुछ दिनों में दिल्ली-एनसीआर समेत उत्तर भारत के कई स्थानों पर कोचिंग सेंटर FIITJEE की कई शाखाएं बंद हो गई हैं। अचानक शाखा बंद होने से सैकड़ों अभिभावकों में रोष है, जिन्होंने फीस वापसी की मांग को लेकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है।
गुरुवार को नोएडा के एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि कोचिंग सेंटर की कई शाखाएं बंद की गई हैं। उन्होंने बताया कि इसके पीछे कारण यह है कि संस्थान वित्तीय संकट में फंसा हुआ है और लाइसेंसिंग व अग्नि सुरक्षा नियमों का उल्लंघन कर रहा है। इसके खिलाफ प्रशासनिक कार्रवाई की गई है।
आपको बता दें कि FIITJEE की शाखाएं नोएडा, गाजियाबाद, मेरठ और भोपाल जैसे शहरों में बंद की गई हैं, जहां अभिभावकों ने कई पुलिस शिकायतें दर्ज कराई हैं। उन्होंने कहा कि जब सेंटर ही बंद हो गया है तो कंपनी को हमारी फीस वापस करनी चाहिए।
वहीं, आईआईटी-दिल्ली के पास कालू सराय में कोचिंग संस्थान की प्रसिद्ध दक्षिण दिल्ली शाखा को शिक्षकों के पलायन के कारण कुछ कक्षाएं निलंबित करने के लिए मजबूर होना पड़ा है। इन शिक्षकों को कथित तौर पर कई महीनों से वेतन नहीं दिया गया था।
गुरुवार को सेक्टर 26 में फिटजी सेंटर को फीस वापस किए बिना बंद किए जाने के बाद नोएडा सेक्टर-58 में पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई। हाल ही में 4 लाख रुपये की फीस जमा करने वाले एक अभिभावक ने बताया, एक शिक्षक ने फीस वापस नहीं की है। फिटजी के शिक्षक ने हमें बताया कि अधिकांश संकाय सदस्य इसलिए जा रहे हैं क्योंकि उन्हें कई महीनों से वेतन नहीं मिला है।
गाजियाबाद के जिला विद्यालय निरीक्षक धर्मेंद्र शर्मा ने हाल ही में अपंजीकृत संस्थानों के खिलाफ उत्तर प्रदेश कोचिंग विनियमन अधिनियम 2002 के तहत शुरू किए गए नए अभियान का जिक्र किया था। सोशल मीडिया पर संस्थान की बंद हो चुकी शाखाओं और पुलिस थानों के बाहर अभिभावकों द्वारा विरोध प्रदर्शन के वीडियो की बाढ़ आ गई है,
कंपनी के शीर्ष प्रबंधन और अवैतनिक संकाय सदस्यों द्वारा जारी किए गए कई वीडियो भी सामने आए हैं। ऐसा प्रतीत होता है कि यह संकट 22, 23 और 24 जनवरी को JEE मेन्स सत्र-1 में शामिल होने वाले छात्रों के लिए शैक्षणिक सत्र की समाप्ति के ठीक बाद शुरू हुआ है।
रिपोर्ट के अनुसार, FIITJEE के 41 शहरों में 72 केंद्र हैं और 300 से अधिक कर्मचारी हैं। कथित वित्तीय चूक और फ्रैंचाइज़ी केंद्र प्रमुखों के साथ विवाद के कारण प्रबंधन उथल-पुथल में है।