भोपाल । मध्यप्रदेश में बेमौसम बारिश के कारण, किसानों के ऊपर लगातार परेशानियों का पहाड़ टूट रहा है।आर्थिक नुकसान हो रहा है। किसान कर्ज में डूब रहे हैं। किसान, भगवान और सरकार दोनों से प्रार्थना कर रहा है।लेकिन किसानों की किस्मत देखिए, दोनों तरफ से उसे निराशा ही मिल रही है।
मध्य प्रदेश के महाकौशल, मालवा, निमाड़, मध्य भारत, विंध्य,चंबल इलाके के किसान, भारी परेशानी से गुजर रहे हैं। तेज हवा पानी ने आम की फसल को नुकसान पहुंचाया। अब बेमौसम बारिश से गोभी, भिंडी, टमाटर, बैंगन इत्यादि में कीड़े लग जाने के कारण, किसानों को भारी नुकसान हो रहा है। खेत में खड़ी मक्का की फसल गिर चुकी है।
पिछले वर्षों में मध्यप्रदेश में प्याज की खेती का रकबा बड़ा था। मध्यप्रदेश में बड़े पैमाने पर प्याज की खेती हो रही है। प्याज की फसल को भी सबसे ज्यादा नुकसान, इस बेमौसम बारिश के कारण हुआ है। प्याज की फसल आने के पहले ही खेतों में सड़ गई। लगभग यही हाल मूंग की फसल का भी देखने को मिल रहा है।किसानों को बेमौसम बारिश के कारण भारी नुकसान उठाना पड़ा है। फसलें खेतों में ही खराब हो रही हैं। किसानों का लागत मूल्य भी नहीं निकल पा रहा है।जिसके कारण किसान और उनके परिवार बहुत परेशान हैं।
मध्य प्रदेश सरकार किसानों को राहत देने की बड़ी-बड़ी बातें करती हैं। लेकिन राहत किसानों तक नहीं पहुंच रही है जब-जब किसानों के ऊपर मुसीबत आती है।उस समय यदि सरकार मदद नहीं करती है, तो उस सरकार का जाना तय माना जाता है।लगभग यही स्थिति मध्यप्रदेश की बन रही है।मध्यप्रदेश में प्याज का रकबा बहुत बड़ा है। 2017 में प्याज को लेकर हो रहे प्रदर्शन पर पुलिस ने फायरिंग की थी। जिसमें 6 किसानों की मौत हो गई थी। उससे भी ज्यादा खराब स्थिति अब देखने में मिल रही है।लेकिन सरकार बड़े-बड़े दावे और घोषणाएं करती हैं।किसानों तक मदद नहीं पहुंचने से किसान वर्तमान सरकार से बेहद नाराज हैं।
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