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पूर्व सैनिकों का फौजी आईकार्ड ही मंत्रालय का गेट पास होगा: कमलनाथ
- पूर्व सैनिक अधिवेशन में बोले कमलनाथ - वर्तमान भाजपा सरकार ने पूर्व सैनिकों का आरक्षण समाप्त कर दिया, कांग्रेस सरकार आने पर उसे पुनः बहाल किया जाये: मेजर जनरल श्याम श्रीवास्तव भोपाल। सैनिक अपना पूरा जीवन देशभक्ति के लिए समर्पित करता है। उसने जो निष्ठा के साथ देश सेवा की है उसका सम्मान किया जाना चाहिए। सैनिकों की एक ही भावना होती है, वह है देश सेवा की भावना। सैनिकों के कारण आज हम सुरक्षित है। पहले सैनिकों के भक्त हुआ करते थे, लेकिन आज मोदी भक्ति चल रही है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आज मप्र कांग्रेस मुख्याल में मप्र कांग्रेस पूर्व सैनिक विभाग के एक दिवसीय प्रांतीय अधिवेशन को संबोधित करते हुये यह बातें कहीं।
कमलनाथ ने कहा कि आप आने वाली पीढ़ियों को कैसा प्रदेश सौंपना चाहते हैं, भारत देश ने सिख धर्म, बौद्ध धर्म, जैन धर्म को जन्म दिया। कोई ऐसा देश नहीं है विश्व में जहां इतने धर्म हो, इतनी जातियां, इतनी भाषाएं हो, इतने देवी देवता हैं, इतने त्यौहार है, आज अपना देश एक झंडे के नीचे खड़ा है, क्योंकि हमारे देश की संस्कृति जोड़ने की संस्कृति है, हम दिल जोड़ते हैं, संबंध जोड़ते हैं, रिश्ता जोड़ते हैं। इसलिए आज हमारा देश एक झंडे के नीचे खड़ा है। लेकिन आज इस संस्कृति का क्या हाल है। आप सब देख रहे हैं, मणिपुर में क्या हो रहा है रोज इतने सारे लोग मारे जा रहे हैं, आदिवासी और गैर आदिवासी के बीच विवाद हो रहा है। तमिलनाडु में हिंदी का विवाद, पंजाब में खालिस्तान के नारे लगने शुरू हो गए। आपने अपना जीवन देश सेवा में समर्पित किया, आपने देश के रक्षक बनकर देश की सेवा की है। अब आपको संस्कृति का रक्षक भी बनना है।
कमलनाथ ने कहा कि आप संस्कृति के रक्षक बनेंगे तभी आने वाली पीढ़ी का भविष्य सुरक्षित रहेगा आपने देश की बहुत सेवा की है, अब आपको समाज की सेवा करना है। आपने बॉर्डर पर सेवा की क्योंकि आपको देश की चिंता थी, अब आपको आगे आने वाली पीढ़ी की चिंता करनी है। आज जवान दुखी किसान दुखी छोटा व्यापारी दुखी है। आज प्रदेश की तस्वीर क्या है, पूरे प्रदेश में भ्रष्टाचार है। हमें पैसे दो और काम लो वाला मध्य प्रदेश नहीं बनाना है। नौजवानों को सबसे बड़ी चुनौती आज हमारे सामने है। आज नौजवानों के भविष्य की चिंता है। वे रोज़गार चाहते हैं, काम करना चाहते हैं। हमें उनकी चिंता करनी है। कमलनाथ ने कहा कि आपने आरक्षण की बात की यह आपकी बहुत जायज मांग है, कांग्रेस सरकार बनने पर वह पूरी होगी। चार महीने बचे हैं, अपनी सरकार आएगी। मैं आपको कहना चाहता हूं जब कांग्रेस की सरकार बनेगी मंत्रालय में आपका जो फौजी का आईडी कार्ड है, यहीं मंत्रालय का गेट पास होगा।
कमलनाथ ने कहा कि मैं मेजर जनरल श्रीवास्तव की बात सुन रहा था, उन्होंने बताया कि सेना का नाम लेकर भाजपा वाले कैसे ध्यान मोड़ते हैं, भाजपा चाहती हैं कि ऐसा ध्यान मोड़ दो जिससे जनता इमोशनल हो जाये। बीजेपी ने 2014 में रोजगार की बात की किसानों की बात की, लेकिन जब चुनाव आए इन्होंने इमोशनल तौर पर ध्यान मोड़कर सर्जिकल स्ट्राइक की बात की, पाकिस्तान की बात की, लेकिन रोजगार नहीं दिया। किसानों की कोई बात नहीं की। अनुशासन के साथ इस कार्यक्रम का संचालन करने के लिये मेजर जनरल श्रीवास्तव को बधाई देता हूं। उनके मन में भावना थी कि सैनिकों के लिए कोई आवाज उठाई जाए उन्होंने यह करके दिखाया है। अंत में आपसे कहना चाहता हूं सच्चाई का साथ दीजिए, सबको सच्चाई बताईयें, अगले चार महीनों की कार्ययोजना बनाईये। आप मन में ठान लीजिए अगले चार महीनों में आप कितने लोगों को सच्चाई समझाएंगे।
राज्यसभा सांसद दिग्विजयसिंह ने भूतपूर्व सैनिकों को संबोधित करते हुये कहा कि हमें कमलनाथ पर भरोसा है, क्योंकि वे जो कहते हैं करके दिखाते हैं। आप की कथनी और करनी में अंतर नहीं है। सैनिकों की जो मांगे है उन पर आप विचार तो करेंगे ही लेकिन सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि जो भूतपूर्व सैनिक रिटायरमेंट के बाद आता है उसमें 20-25 साल तक और काम करने की क्षमता है, उसको आपको सकारात्मक रूप से कहां मोड़ना है। यह जवाबदारी सरकार की होती है। उनके लिए सैनिकों का बोर्ड है उसके बावजूद हम देखते हैं कि उनकी छोटी-छोटी ज़रूरतों को पूरा नहीं किया जाता है। लेकिन यह तो हद कर दी भारतीय जनता पार्टी ने कि जो 10 परसेंट का आरक्षण कांग्रेस पार्टी ने भूतपूर्व सैनिकों को दिया है, वह बीजेपी ने समाप्त कर दिया, यह हमें स्वीकार नहीं है। कांग्रेस सरकार में भूतपूर्व सैनिकों के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण बहाल किया जायेगा।
मेजर जनरल श्याम श्रीवास्तव ने कहा कि 15 से 35 साल तक देश की रक्षा में अपनी सेवाएं देकर अपना सर्वस्व न्यौछावर करने वाले पूर्व सैनिक जब अपनी सेवाएं पूरी करके वापस आते है तो उनमें से अधिकांश सैनिकों की उम्र महज 35 से 45 साल की ही होती है। उस समय उनके पास सबसे ज्यादा जिम्मेदारियां परिवार को चलाने की होती हैं और सीमित पेंशन में अपने परिवार का गुजारा करना बहुत मुश्किल होता है। देश में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी सरकारें अपने पूर्व सैनिकों को आरक्षण देती आ रही है। मध्यप्रदेश में भी यह आरक्षण व्यवस्था लागू थी, परंतु बीते समय में हुई पुलिस भर्ती से मध्य प्रदेश सरकार ने पूर्व सैनिकों का आरक्षण समाप्त कर इस व्यवस्था पर विराम लगा दिया। यहीं नहीं पूर्व सैनिकों द्वारा विरोध करने पर उनके विरुद्ध पुलिस में कई क्रिमिनल धाराओं के साथ केस दर्ज करवा दिए गये है। पूर्व सैनिक सरकार के इस रवैये पर कुछ अधिक तो नहीं कर सके पर आगामी चुनाव में पूर्व सैनिक एकजुट होकर भाजपा सरकार को पराजित करने के लिए मुखर रहेगी।
अधिवेशन में पूर्व मंत्री पी.सी. शर्मा, प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्ष जे.पी. धनोपिया, पूर्व सैनिकगण मनोहर बाथम, बलवीर सिंह तोमर, जगदीश धनकड़, मानसिंह कोली, मेहबूब अंसारी, एन.एस. रूपरा, राजेश कुमार चौधरी, होमसिंह बघेल, शैलेन्द्र पटेल, चेतन कुमार साहू। कार्यक्रम का संचालन लेप्टीनेंट कमांडर दीपिका सिंह ने किया।
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