भोपाल। राजधानी की गोविंदपुरा विधानसभा सीट पर भाजपा को भोपाल जिले की सबसे बडी जीत मिली। यहां से भाजपा प्रत्याशी कृष्णा गौर को एक लाख छह हजार 668 मत प्राप्त हुए। भाजपा ने यह प्रदेश में दूसरी सबसे बड़ी जीत हासिल की है। उधर हुजूर विधानसभा क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी रामेश्वर शर्मा ने भोपाल जिले में ही दूसरी बड़ी जीत दर्ज कराई। उन्हें कुल 97 हजार 910 मत प्राप्त हुए है। पिछले 2018 चुनाव की अपेक्षा कृष्णा गौर को 60 हजार 309 और रामेश्वर शर्मा को 82 हजार 185 अधिक मत मिले हैं। जिले की सात विधानसभा सीटों में भाजपा का सबसे पुराना गढ़ गोविंदपुरा एक बार फिर पूरी ताकत से उभरकर सामने आया है। गोविंदपुरा औद्योगिक क्षेत्र के लिए प्रसिद्ध क्षेत्र में श्रमिक नेता से उभरकर मुख्यमंत्री तक पहुंचने वाले बाबूलाल गौर ने रिकार्ड आठ बार विजयश्री हासिल करके जो मजबूत नींव बनाई थी,
उसे उनकी बहू कृष्णा गौर ने न केवल बरकरार रखा, बल्कि एक लाख से अधिक मतों से जीतकर इसकी मजबूती में कोई कमी नहीं आने दी है। इस सीट पर जिले में सबसे ज्यादा तीन लाख 93 हजार 213 मतदाता हैं, इस मतदान में दो लाख 47 हजार 854 मतदाताओं अर्थात 63.03 प्रतिशत ने अपने मताधिकार का उपयोग किया था। इस सीट पर पांच दशकों से भाजपा की मजबूत पकड़ है। गौर परिवार की सीट पर इस बार कांग्रेस मैदान में मजबूती से खड़ी भी नहीं हो पाई। कृष्णा गौर की टक्कर में कांग्रेस प्रत्याशी रवींद्र साहू झूमरवाला की अपने क्षेत्र में पहले से सक्रियता नहीं रही थी। चुनाव प्रचार के दौरान उन्होंने क्षेत्र को नापने की कोशिश तो की, लेकिन बड़े इलाके में सब तक पहुंच नहीं पाए।
जिले की सात विधानसभा क्षेत्र में से सबसे अधिक गोविंदपुरा में ढाई हजार मतदाताओं ने नोटा का बटन दबाया है। जबकि सातों विधानसभा क्षेत्र में कुल 10 हजार 485 मतदाताओं ने नोटा का उपयोग किया है। जो कि पिछले विधानसभा चुनाव वर्ष 2018 से एक हजार 146 कम हैं। पिछले चुनाव में सातों विधानसभा क्षेत्र में कुल 11 हजार 631 मतदाताताओं ने नोटा पर अपना मत दिया था। राजधानी की महापौर भी रह चुकी कृष्णा गौर की अपने विधानसभा क्षेत्र में गजब की पकड़ है। छोटे-छोटे आयोजनों में बुलाए जाने पर भी वे उपस्थिति जरूर दर्ज कराती हैं।